Saturday, 12 September 2009

-गैर शैक्षणिक कार्यों में लगे शिक्षकों पर शिंकजा

बीमा एजेंट, प्राइवेट कोचिंग, ट्यूशन, शेयर-मार्केट व प्रापर्टी डीलिंग करने वाले होंगे चिन्हित -जिला शिक्षाधिकारी 15 दिन के भीतर शासन को मुहैया कराएंगे सूची देहरादून, अध्यापन की ताक पर गैर शैक्षणिक कार्यों में जुटे शिक्षकों पर शासन ने शिकंजा कड़ा कर दिया है। शासन ने बीमा एजेंट, प्राइवेट कोचिंग, ट्यूशन, शेयर मार्केट व प्रापर्टी डीलिंग में लगे शिक्षकों के बारे में जिला शिक्षा अधिकारियों से 15 दिन में सूची मांगी गई है। शिक्षा सचिव डा. राकेश कुमार ने सभी जिलाधिकारियों को भेज आदेश में कहा है कि शासन की जानकारी में आया है कि अनेक शिक्षक मूल कार्य शिक्षण के अतिरिक्त अन्य व्यवसायिक गतिविधियों से जुड़े हैैं। इससे पठन-पाठन पर विपरीत असर पड़ रहा है। सभी जिला शिक्षा अधिकारी ऐसे शिक्षकों को तुरंत चिन्हित कर 15 दिन के भीतर जानकारी उपलब्ध कराएं। शासन ने शिक्षकों के संबंध जिन में पांच बिंदुओं पर सूचना मांगी है, उनमें गैर शैक्षणिक कार्य करने वाले, गंभीर बीमारी से पीडि़त, लंबे समय से चिकित्सा अवकाश व अवैतनिक अवकाश पर रहने तथा सौ दिन से अधिक शिक्षण कार्य नहीं करने वाले शिक्षकों का ब्योरा शामिल है। जिन अध्यापकों के छात्र बोर्ड परीक्षा में संबंधित विषय में पचास प्रतिशत से कम अंक तथा और औसत से कम परीक्षाफल वाले प्रधानाध्यापकों व प्रधानाचार्यों की सूची भी तलब की गई है। ऐसे अध्यापक, जो अपनी तैनाती के विद्यालयों में किसी अन्य व्यक्ति से शिक्षण कार्य करा रहे हैैं, उनकी जानकारी भी शासन को भेजनी होगी। दुर्गम स्थानों में न्यूनतम पांच किमी की दूरी पैदल चलकर स्कूल जाने वाले शिक्षकों के संबंध में भी शासन को जानकारी मुहैया करानी होगी।

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