Thursday, 12 November 2009
लोक कलाएं: प्रोत्साहन की मुहिम पकड़ेगी जोर
स्कृति महकमा बना रहा है योजना
-कलाकारों की आर्थिक स्थिति में होगा सुधार
देहरादून, देवभूमि उत्तराखंड की संस्कृति व लोक कलाओं को संरक्षित व विभिन्न मंचों पर प्रोत्साहित करने की मुहिम जोर पकड़ेगी। संस्कृति महकमे की नई योजना लोक कलाकारों की आर्थिक स्थिति सुधारने में मददगार होगी।
महकमे ने यह तय किया है कि देवभूमि की संस्कृति को राज्य के भीतर और अन्य प्रदेशों में नियोजित तरीके से प्रोत्साहित किया जाएगा। इसके तहत अन्य राज्यों में विभिन्न अवसरों पर उत्तराखंड की संस्कृति की छटा बिखेरने को कलाकारों के दल जाएंगे। स्वायत्त सांस्कृतिक संस्थाओं को सांस्कृतिक कार्यक्रमों, नाट्य समारोहों व लोक विधाओं के अभिलेखीकरण व वीडियोग्राफी को आर्थिक मदद मुहैया कराई जाएगी। अब तक साठ साल से ज्यादा उम्र के 106 वृद्ध एवं गरीब कलाकारों को मासिक पेंशन मुहैया कराई जा चुकी है।
प्रदेश व देश के महापुरुषों की स्मृतियों में मूर्ति स्थापना व स्मारकों का निर्माण होगा। इसकी सूची तैयार की जा रही है। इसी तर्ज पर प्राचीन संरक्षित स्मारकों व स्थलों के विकास की रूपरेखा बनाई जा रही है। प्राचीन व ऐतिहासिक महत्व के अग्रलेखों व पांडुलिपियों की माइक्रो फिल्मिंग का काम अत्याधुनिक मशीनों से किया जाएगा। संस्कृति निदेशक बीना भट्ट के मुताबिक संस्कृति, लोक कलाओं व धरोहरों को सहेजने को नीति नियोजन किया जा रहा है। महकमे ने राज्य के नौवें स्थापना दिवस के मौके पर लोक कलाकारों को अधिक महत्व दिया है। विलुप्त होने की कगार पर पहुंची लोक कलाओं, विभिन्न वाद्य यंत्रों व उनसे जुड़े कलाकारों के प्रोत्साहन के लिए महकमे ने कदम उठाए हैं। इन्हें सूचीबद्ध किया जाएगा।
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