Thursday 22 March 2018

उत्तराखंड : नोटबंदी के दौरान 414 लोगों ने जमा की इतनी रकम की जानकर उड़ जाएंगे होश

उत्तराखंड में करोड़पति-अरबपतियों की कमी नहीं है। नोटबंदी के दौरान उत्तराखंड में 414 लोग ऐसे थे, जिन्होंने पांच अरब रुपये बैंकों में नगद जमा किए। इनमें 39 लोगों ने अभी तक इनकम टैक्स विभाग के नोटिस का जवाब तक नहीं दिया है। इन पर 31 मार्च के बाद आयकर विभाग कार्रवाई की तैयारी कर रहा है। 
मुख्य आयकर आयुक्त पीके गुप्ता ने बुधवार को पत्रकारों से बातचीत में यह खुलासा किया। उन्होंने बताया कि उत्तराखंड में नोटबंदी के दौरान ढाई लाख रुपये से ज्यादा बैंक में जमा करने वाले कुल 3255 मामलों में नोटिस जारी किए गए। इसमें 414 मामले ऐसे पाए गए जिन्होंने बैंकों में एक-एक करोड़ रुपये से ज्यादा की रकम जमा की। 50 लाख से 1 करोड़ रुपये तक नगद जमा करने वालों की संख्या 600 है। जबकि ढाई लाख से 50 लाख रुपये नगद जमा करने वालों की संख्या 2161 है। उन्होंने बताया कि इन सभी की जांच की जा चुकी है।

एक करोड़ रुपये से अधिक जमा करने वाले 39 मामले में आयकर को कोई जवाब नहीं मिला है। जबकि ढाई लाख से अधिक जमा करने वाले कई मामलों में नोटिस का जवाब नहीं मिला है। नगद जमा करने वाले 50 फीसदी मामले संदिग्ध हैं। इन मामलों में आयकर विभाग 31 मार्च के बाद कार्रवाई करने जा रहा है। आयकर विभाग के मुताबिक एक करोड़ रुपये अधिक नगद जमा करने वालों में पेट्रोल पंप संचालक, निजी नर्सिंग होम संचालक, रियल एस्टेट कारोबारियों की संख्या अधिक है। इनके पिछले वर्षों के रिकार्ड के साथ ही नोटबंदी के दौरान नगद लेन-देन के मामलों की जांच की गई। खास बात यह है कि नोटबंदी में नगद जमा करने वालों में 90 फीसदी मामले राज्य के मैदानी क्षेत्रों के हैं। 
राज्य में एक लाख नए करदाता
राज्य में पिछले वर्ष के मुकाबले आयकर दाताओं की संख्या 1,03,881 बढ़ी है। पिछले साल राज्य में इनकी संख्या 5,17,940 थी, जो अब 6,21,821 हो गई है। सबसे ज्यादा वृद्धि नॉन कॉरपोरेट सेक्टर में हुई है। यानी आम आयकर दाताओं की संख्या में 16 फीसदी की वृद्धि दर्ज की गई है। मुख्य आयकर आयुक्त पीके गुप्ता ने बताया कि राज्य में 11 हजार करोड़ रुपये का आयकर लक्ष्य था, जिसमें से 10,300 करोड़ रुपये कर के रुप में जमा हो चुके हैं।
सर्वे में सरेंडर हुए 33.61 करोड़ 
आयकर ने इस साल अक्तूबर के बाद राज्य में 22 सर्वे किए। 12 सर्वे गढ़वाल और 10 कुमाऊं क्षेत्र में हुए। इसमें 33.61 करोड़ की आय घोषित की गई। इस पर 10 करोड़ का टैक्स तय किया गया और चार करोड़ रुपये जमा भी हो चुके हैं। बाकी रकम 31 मार्च तक जमा होने की उम्मीद है। 
यूपी निर्माण निगम मामले में जांच पूरी 
मुख्य आयकर आयुक्त पीके गुप्ता ने बताया कि यूपी निर्माण निगम से जुड़े शिव आश्रय शर्मा प्रकरण की जांच पूरी कर दी गई है। मालूम हो कि इस मामले में एक आईएएस अफसर भी जांच के दायरे में आए हैं और इस मामले अफसर को भी नोटिस जारी किया गया है। 
अफसरों के क्लब पर आयकर सख्त 
नौकरशाहों के क्लब सिविल सर्विसेज संस्थान पर आयकर ने सख्त रुख अपनाया है।


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