Tuesday 27 July 2010

-कारगिल के शहीदों को शत-शत नमन

कारगिल युद्ध को बीते ग्यारह साल सूबे के 75 व दून के 18 जांबाजों ने दी थी शहादत pahar1: कारगिल युद्ध को ग्यारह साल हो चुके हैं। पड़ोसी मुल्क पाकिस्तान ने भारतीय सीमाओं में घुसपैठ कर कई इलाकों पर कब्जा कर लिया था। इसके बाद भारतीय वीर जवानों ने अपने अदम्य साहस और युद्ध कौशल से इन घुसपैठियों को मार भगाया और इन इलाकों में फिर से तिरंगा लहराने लगा। कारगिल युद्ध के दौरान हजारों जवान शहीद हुए। सरकार ने ऑपरेशन विजय और शहीदों की याद में हर वर्ष 26 जुलाई को विजय दिवस मनाने का निर्णय लिया। दून के अमर शहीद 1. मेजर विवेक गुप्ता (महावीर चक्र) देहरादून के वसंत विहार निवासी ले. कर्नल (रिटायर्ड) बृजमोहन गुप्ता के घर 1970 में जन्मे मेजर विवेक गुप्ता 13 जून 1992 को द्वितीय राजपूताना रेजिमेंट में शामिल हुए। कारगिल में ऑपरेशन विजय के दौरान 12 जून 1999 को मेजर विवेक गुप्ता ने तोतोलिंग चोटी को पाक घुसपैठियों से मुक्त करते हुए कई आतंकवादियों को मौत के घाट उतारा। युद्ध के दौरान विवेक गंभीर रूप से घायल हो गए और मात्र 29 वर्ष की आयु में देश के लिए अपने प्राण न्यौछावर कर दिए। इस वीरता और अदम्य साहस के लिए उन्हें मरणोपरांत महावीर चक्र दिया गया। 2. स्क्वाड्रन लीडर राजीव पुंडीर 28 अप्रैल 1962 में ग्राम बड़ोवाला में ठाकुर राजपाल सिंह व हेमवती पुंडीर के घर इस वीर सपूत का जन्म हुआ। उन्होंने 1979 में राष्ट्रीय सुरक्षा अकादमी में प्रवेश कर सैन्य जीवन की शुरुआत की। शहीद पुंडीर एक बेहतरीन पायलट होने के साथ एक कुशल खिलाड़ी, गायक व संगीत प्रेमी थे। ऑपरेशन विजय के दौरान शत्रुओं की गतिविधियों की जानकारी लेने के लिए उन्होंने उड़ान भरी। वह दुश्मनों के क्षेत्र में शत्रुओं की गतिविधियों का जानकारी हासिल कर रहे थे कि पाकिस्तानी घुसपैठियों ने मिसाइल से उनके हेलीकॉप्टर पर हमला कर दिया। इस हमले में राजीव वीरगति को प्राप्त हुए। 3. नायक बृजमोहन (वीर चक्र) देहरादून के ग्राम तुनवाला में एक जून 1975 में माधो सिंह नेगी के घर इस वीर सपूत का जन्म हुआ। शुरू से सेना में जाने की ललक के चलते बृजमोहन 9 पैरा कमांडों में भर्ती हुए। मई 1999 में कारगिल युद्ध के दौरान उन्हें कश्मीर में तैनाती मिली। एक जुलाई को पाकिस्तानी घुसपैठियों को मुंहतोड़ जवाब देते हुए भारत मां का यह लाडला बृजमोहन मात्र 24 वर्ष की युवावस्था में देश के लिए शहीद हो गया। मरणोपरांत बृजमोहन को वीर चक्र से सम्मानित किया गया। 4. रायफलमैन नरपाल सिंह पट्टी मालकोट में सुरेंद्र सिंह के घर एक जुलाई 1969 को नरपाल सिंह का जन्म हुआ। बीए की परीक्षा उत्तीर्ण करने के बाद वह गढ़वाल रायफल में भर्ती हुए। कारगिल में ऑपरेशन विजय के दौरान उन्हें द्रास सेक्टर में तैनाती मिली। 29 जून 1999 को यह वीर सपूत अपने साथियों को बचाते हुए वीरगति को प्राप्त हुआ। 5. रायफलमैन रमेश कुमार थापा देहरादून के इस लाडले ने वर्ष 1976 में अनारवाला निवासी सर्वजीत थापा के घर जन्म लिया। प्रारंभिक शिक्षा हासिल करने के बाद वह 5/3 गोरखा रेजीमेंट में भर्ती हुए। ऑपरेशन विजय के दौरान उनकी यूनिट को 32 राष्ट्रीय रायफल के साथ लगाया गया। पांच जुलाई 1999 को कारगिल में दुश्मनों को खदेड़ते हुए दून का यह जाबांज शहीद हो गया। 6. नायक कृष्ण बहादुर भारत के इस वीर सपूत का जन्म 24 जून 1964 में सेलाकुई निवासी मोहन सिंह थापा के घर हुआ था। हाईस्कूल पास करने के बाद वह 4/3 गोरखा रेजीमेंट में भर्ती हो गए। ऑपरेशन विजय के दौरान बटालिक सेक्टर को मुक्त कराते हुए 11 जुलाई 1999 को वीरगति को प्राप्त हुए। 7. रायफलमैन जयदीप सिंह भंडारी शहीद जयदीप सिंह भंडारी का जन्म 15 जनवरी 1978 को नेहरूग्राम निवासी बचन सिंह भंडारी के घर हुआ। इंटरमीडिएट की परीक्षा पास कर वह 17 गढ़वाल रायफल में भर्ती हुए। निशानेबाजी और बाक्सिंग के शौकीन जयदीप ने कई पदक भी हासिल किए। ऑपरेशन विजय के दौरान उन्हें बटालिक सेक्टर की जुबार हिल में तैनाती मिली। दुश्मनों से लोहा लेते हुए तीस जून को उत्तराखंड का यह जाबांज 21 वर्ष की आयु में वीरगति को प्राप्त हुआ। 8. लांस नायक शिवचरण शहीद शिवचरण प्रसाद का जन्म 12 मई 1973 को अनारवाला निवासी सदानंद के घर हुआ। बीए की परीक्षा उत्तीर्ण करने के बाद व सेना में भर्ती हो गए। ऑपरेशन विजय में मश्को घाटी में दुश्मनों से लोहा लेते हुए छह जुलाई को इस वीर सपूत ने अपने प्राणों का बलिदान दिया। 9. राजेश गुरुंग अमर शहीद राजेश गुरूंग का जन्म 1975 को चांदमरी, घंघोड़ा निवासी श्याम सिंह गुरूंग के घर हुआ। हाईस्कूल की परीक्षा उत्तीर्ण करने के बाद वे नागा रेजीमेंट में भर्ती हो गए। कारगिल में दुश्मनों से मुकाबले करते हुए छह जुलाई को राजेश वीरगति को प्राप्त हुए। 10. तेंगजिंग नमखा कारगिल शहीद तेंगजिंग नमखा का जन्म विकासनगर निवासी नोरबू थुंडुप के घर 1979 में हुआ था। सातवीं परीक्षा उत्तीर्ण करने के बाद वे सेना में भर्ती हुए। युद्ध के दौरान व अपनी कंपनी के साथ तुरतुक सेक्टर में तैनात थे। 19 जुलाई को यह जाबांज मातृभूमि की रक्षा करता हुआ शहीद हो गया। 11. जय सिंह नेगी अमर शहीद जय सिंह नेगी का जन्म नया गांव मल्हान निवासी शिवराज सिंह नेगी के घर 20 दिसंबर 1977 को हुआ। इंटरमीडिएट करने के बाद वे गढ़वाल रायफल्स में भर्ती हो गए। ऑपरेशन विजय के दौरान मश्कोह घाटी में दुश्मनों से लोहा लेते हुए सात जुलाई 1999 को भारत मां के इस लाडले ने देश के लिए सर्वोच्च बलिदान दिया। दून के अन्य शहीदों में 12. नायक मेख बहादुर गुरुंग, निवासी डाकरा कैंट, देहरादून 13.कैलाश कुमार, ग्राम डांडी, रानीपोखरी देहरादून 14. देवेंद्र सिंह, शांति विहार, गढ़ी कैंट, देहरादून 15. संजय गुरुंग, ग्राम नवादा, देहरादून 16. जिगमे सोनम, तिब्बत कालोनी, सहस्त्रधारा रोड, देहरादून 17. नायक विजय सिंह भंडारी, प्रेमनगर 18.नायक कश्मीर सिंह वीर चक्र, आमवाला, नींबूवाला, देहरादून शेष स्थानों से कितने हुए शहीद पौड़ी - नायक मंगत सिंह - रायफलमैन मान सिंह - लांस नायक मदन सिंह - रायफलमैन कुलदीप सिंह - नायक धर्म सिंह चमोली - हवलदार पदम राम - रायफलमैन सतीश चंद - रायफलमैन रंजीत सिंह - नायक दिवाकर सिंह - लांस नायक कृपाल सिंह - नायक हीरा सिंह - सिपाही हिम्मत सिंह - नायक आनंद सिंह रुद्रप्रयाग - रायफलमैन भगवान सिंह - नायक गोविंद सिंह - नायक सुनील दत्त टिहरी - रायफलमैन दलबीर सिंह - रायफलमैन विरेंद्र लाल - लांस नायक दिनेश दत्त - रायफलमैन बिक्रम सिंह - नायक शिव सिंह - सिपाही सुंदर सिंह - रायफलमैन राजेंद्र सिंह - नायक जगत सिंह - रायफलमैन बिजेंद्र सिंह - सुबेदार प्रताप सिंह - नायक सुबाब सिंह - रायफलमैन दिलवर सिंह लैंसडौन - नायक हरेंद्र सिंह - लांस नायक सुरमन सिंह - रायफलमैन डबल सिंह - नायक अनिल सिंह - लांस नायक देवेंद्र प्रसाद - नायक ज्ञान सिंह - नायक सुरेंद्र सिंह - हवलदार मदन सिंह - रायफलमैन बलबीर सिंह नेगी - नायक भरत सिंह - सिपाही भरत सिंह - रायफलमैन अनसुया प्रसाद ध्यानी उत्तरकाशी - रायफलमैन दिनेश चंद्र नैनीताल - मेजर आरएस अधिकारी - लांस नायक चंदन सिंह - लांस नायक राम प्रसाद - सिपाही एमसी जोशी पिथौरागढ़ - रायफलमैन जौहर सिंह - नायक किशन सिंह - हवलदार गिरीश ंिसह - पीटीआर कुंडल सिंह अल्मोड़ा - लांस नायक हरी सिंह देवडी - नायक हरी बहादुर घले - हवलदार तम बहादुर क्षेत्री - कैप्टन आदित्य मिश्रा बागेश्वर - पीटीआर राम सिंह बोरा - सिपाही मोहन सिंह - हवलदार हरी सिंह थापा ऊधमसिंह नगर - रायफलमैन अमित नेगी भुला दिए जाते हैं शहीद कारगिल शहीदों के लिए मात्र विजय दिवस मनाकर सरकार व प्रशासन अपने कार्यों की इतिश्री कर लेता है, लेकिन शहीदों के परिजन और गांव वाले एकत्र होकर अपने लाडलों को याद करते हैं। शहीद नरपाल सिंह - 29 जून शहीद बृजमोहन सिंह - 1 जुलाई शहीद विवेक गुप्ता - 12 जून शहीद रमेश कुमार थापा- 5 जुलाई शहीद जय दीप सिंह नेगी- 30 जून शहीद शिव चरण- 6 जुलाई शहीद राजेश गुरुंग - 6 जुलाई शहीद जय सिंह नेगी- 7 जुलाई शहीद तेंजिग नेमखा- 11 जुलाई शहीद कृष्ण बहादुर- 11 जुलाई

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