Wednesday 6 May 2009

विभोर के आईएएस में चयन पर खुशी की लहर

घनसाली। भले ही विभोर बडोनी नैलचामी पट्टी में पैदा न हुए हों और उनका अपने पैतृक गांव भटवाड़ा आना-जाना भी बहुत ही कम हुआ हो। लेकिन उनकी सफलता से उनका पैतृक गांव ही नहीं नैलचामी पट्टी भी उत्साहित है। कारण क्षेत्र से पहली बार क्षेत्र से कोई भारतीय प्रशासनिक सेवा में निकला है।विभोर बडोनी कल तक नैलचामी पट्टी के लिए अनजान नाम था। लेकिन अचानक वह पूरे क्षेत्र का चहेता हो गया है। अमर उजाला में विभोर के भारतीय प्रशासनिक सेवा में चुने जाने का समाचार प्रकाशित होने के बाद लोग आपस में बधाइयां देकर खुशियां बांट रहे हैं। विभोर के पिता रामस्वरूप जब ढाई वर्ष के थे, तभी उनकेपिता गोपाल द8ा बडोनी का निधन हो गया था। रामस्वरूप बडोनी ने स्वाध्याय से अपनी पढ़ाई की। वह अपनी मेहनत से ओएनजीसी के प्रबंधक पद तक पहुंचने केबाद सेवानिवृ8ा हुए हैं। उनका बड़ा बेटा विंग कमंाडर एवं लड़की एमबीए है। अब विभोर केप्रशासनिक सेवा में चयन के बाद पूरे गांव में उत्साह का माहौल है। प्रधान संगीता देवी ने तो पूरे गांव में मिठाई बांटकर खुशी का इजहार किया। ग्रामीण कपिल बडोनी, ज्योति प्रसाद बडोनी केसाथ ही गांव के कई लोगों ने रामस्वरूप बडोनी को फोन पर बधाई देकर अपना खुशी जताई।

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